एक्सक्लूसिव रिपोर्ट

सीक्रेट-ऑपरेशन का बड़ा दावा,सभी के दावें साबित होंगे गलत, जारी आॅपरेशन की रात में भी नहीं गिरेगा “कीव”, दो मार्च की सुबह का सूरज देखेगा यूक्रेन – चंद्रकांत मिश्र (एडिटर इन चीफ)


(फाइल फोटो)

कीव/लंदन। रूस द्वारा यूक्रेन के खिलाफ जारी मिलीट्री आॅपरेशन के छटवें दिन के रात 12 बजे तक की रिपोर्ट में कहा जा रहा है कि यूक्रेन के लिए यही रात अंतिम यही रात भारी,यूक्रेन के लिए इस अंतिम रात को लेकर दुनिया भर के तमाम मीडिया संस्थान,इंटेलीजेंस ऐजेंसियां व तमाम विशेषज्ञ दावा कर रहे हैं कि किसी भी स्थिति में कीव आज की रात में गिरेगा और रूसी फौज कीव का टास्क पूरा करेगी,गलत ,बिल्कुल हीं गलत धारणा है,यूक्रेन 2 मार्च का सूरज हर हाल में देखेगा,और आगे भी देखेगा।

बता दें कि पिछले छ दिनों से रुस लगातार ताबड़तोड़ हवाई हमला,मिसाइलअटैक के साथ-साथ सरफेस टू सरफेस मिसाइलों का भी अपने इस आॅपरेशन में इस्तेमाल कर रहा है,यहां तक की कई शहरों को अपने घातक बमबारी से नेस्तनाबूद कर दिया है,इस दौरान खारकीव पर भी कब्जा कर लिया था लेकिन फिर यूक्रेन ने पलटवार करते हुए खारकीव पर दोबारा कब्जा कर लिया,और रूस खारकीव पर अभी तक दोबारा कब्जा करने में असफल रहा है,अब खिसियाहट में कीव को टारगेट कर रहे हैं,64 किलोमीटर की रुसी मिलीट्री कानवाई कीव की तरफ बढ़ रही है,इसी कानवाई को देखकर सभी दावा कर रहे हैं कि हर हाल में कीव आज रात गिरेगा,लेकिन ऐसे लोगों को समझना चाहिए कि जो पिछले छ दिनों से लगातार तमाम भीषण गोलाबारी और बमबारी को झेल रहा है फिर भी अपने सिद्धांतों से अभी तक समझौता नहीं किया उसे 64 किलोमीटर नहीं 6400 किलोमीटर की मिलीट्री कानवाई कभी नहीं झुका सकती।

साफ कर दें कि यूक्रेन को अच्छी तरह से मालूम है कि रूस पहले हवाई,मिसाइल,और अन्य तरह की भीषण गोलाबारी व बमबारी करेगा,जिसमें सिर्फ इमारतें ही टारगेट होंगीं,बाकि लोग सुरक्षित मिलीट्री बंकरों में पूरी तरह से सुरक्षित है,चूंकि आम नागरिक कीव कबका छोड़ चुके हैं,अब वहां जो भी है वो पूरी तरह से आर्मड् है,जो रूस के स्वागत में पलकें बिछायें इंतज़ार में है,वहीं रूसी कानवाई जैसे ही कीव में दाखिल होगी,पिटना तय है,इसके एक नहीं बहुत सारे कारण है।

मातृभूमि की कैसे रक्षा की जानी चाहिए,दुनियां को यूक्रेन से सींखनी चाहिए,इस समय यूक्रेन दुनिया की सबसे बड़ी सुपरपावर मिलीट्री के लिए कितना बड़ा चैलेंज बन गया है, वो भी बिना प्रयाप्त मदद के,पूरी दुनिया जान रही है कि नाटों कितनी यूक्रेन की मदद कर रहे हैं जो कि बिल्कुल भी संतोषपूर्ण नहीं है। फिर भी यूक्रेन दुश्मन से मोर्चा ले रहा है इसके साथ ही जबरदस्त पलटवार भी करने से नहीं चूंक रहा।

वहीं,रूसी फौज ने पूरी दुनिया को दिखा दिया कि वो कितनी योग्य हैं ? असीमित संसाधनों से लैस होने के बावजूद भी एक छोटे से टास्क को पूरा नहीं कर पा रही हैं।

अगर रूस इस आॅपरेशन में फेल होता है तो इसके पीछे सबसे बड़ा कारण होगा रूस की खुफिया ऐजेंसी KGB जो कि पहले से ही अपने तमाम सीक्रेट-ऑपरेशन को लेकर हमेशा मजाक का पात्र रही है।

बताते चले कि जिस दिन रूस ने सुबह आॅपरेशन “यूक्रेन” शुरू किया था उस दिन शाम को पुतिन संबधित सभी उच्चाधिकारियों व कैबिनेट के साथ मीटिंग कर रहे थे उस समय पुतिन पूरे आत्मविश्वास से लबरेज दीख रहे थे,इस दौरान इस मीटिंग को ब्रीफ करते समय KGB चीफ की जुबान लड़खड़ाने लगी थी यानि हंकलाने लगे थे,जिस पर पुतिन उनका यह व्यवहार देखकर मुसकुराने लगे।

लेकिन टास्क पूरा ना होने से पुतिन का गुस्सा इस समय सातवें आसमान पर है,और शायद इसी गुस्से में उन्होंने परमाणु फोर्स को अलर्ट पर करते हुए टारगेट भी तय कर दिये है,लेकिन फिर भी अभी तक बात बनती नहीं दीख रही है।

पूरे घटनाक्रम के विश्लेषण से साफ पता चलता है कि यूक्रेन के बारे में अच्छी जानकारी के अभाव में इस मिलीट्री आॅपरेशन को शुरू किया गया है जो कि अभी तक मंजिल नहीं पा सकी है,जो कि अभी भी रूस के लिए बड़ी चुनौती के रूप में सामने खड़ी है।

अब रूस के लिए करो या मरो वाली स्थिति बन गई है यानि रूस को हर हालत में कीव पर फतह करना है,लेकिन अभी तक सफलता साथ नहीं दे रही है।

वहीं अमेरिका व नाटों यूक्रेन को पीछे से मदद करने के साथ ही साथ पूरी दुनिया में रूस के खिलाफ जनमत बनाने के मिशन पर भी लगातार सक्रिय है,जिसमें काफी हद तक सफल भी हो रहे हैं।
अब आने वाला वक्त दिन ब दिन तनावपूर्ण व दिलचस्प होता जा रहा है कि आगे क्या होगा ?

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