एक्सक्लूसिव रिपोर्ट

पीओके में पिछले 72 घंटाें में सुरक्षाबलाें के साथ मुठभेड़ में कम से कम 12 लाेग मारे गए

मुजफ्फराबाद,  (हि.स.)। पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (पीओके) में पिछले 72 घंटाें से जारी विरोध प्रर्दशन में सुरक्षाबलाें के साथ मुठभेड़ में कम से कम 12 लाेग मारे गए हैं जबकि 200 से ज्यादा घायल हुए हैं।

मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक यह आंकड़ा नवीनतम रिपाेर्टाें के आधार पर है जाे पहले बताए गए आंकड़ाें से अधिक है। ये सभी माैतें मध्य और उत्तरी पीओके के विभिन्न जिलाें में सुरक्षाबलाें और आंदाेलनकारियाें के बीच झड़पाें के दाैरान हुई हैं।

ये प्रदर्शन जम्मू-कश्मीर संयुक्त अवामी एक्शन कमिटी (जेके-जेएएसी) की अगुवाई में पीओके के निवासियाें के मूल अधिकाराें के हनन के खिलाफ किए जा रहे हैं।इस बीच पाकिस्तानी प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने प्रर्दशनकारियाें से शांति की अपील करते हुए सुरक्षाबलाें से संयम बरतने काे कहा है। शरीफ अभी लंदन प्रवास पर हैं।

अपने संदेश में उन्हाेंने क्षेत्रीय स्थिति पर चिंता जाहिर करते हुए कहा कि सुरक्षाबलाें काे प्रर्दशनकारियाें के खिलाफ संयम बरतना चाहिए।उधर यहां जेके-जेएएसी की काेर कमेटी के सदस्य सरदार उमर नजीर कश्मीरी ने अंतरराष्ट्रीय मीडिया और वैश्विक मानवाधिकार संगठनाें से इस मामले में तत्काल हस्तक्षेप किए जाने की अपील की है।

नजीर ने कहा, “28 सितंबर से पाकिस्तान सरकार ने पीओके में संचार व्यवस्था पूरी तरह से ठप कर दी है। माेबाइल नेटवर्क इंटरनेट और लैंडलाइन कनेक्शन काट दिए गए हैं। खाने-पीने के सामान और ईंधन की कमी पैदा करने के लिए अंतर प्रांतीय राजमार्गाें काे जानबूझकर बंद कर दिया गया है।

संगठन के नेताओं और पत्रकाराें के खिलाफ मामले दर्ज किए जा रहे हैं।”नजीर ने आराेप लगाया कि ये कार्रवाइयां मानवाधिकाराें के साथ संयुक्तराष्ट्र घाेषणापत्र में की गई मानवाधिकाराें से जुड़ी सार्वभाैमिक घाेषणा का भी उल्लंघन है। उन्होंने कहा, “हमारी मांगे विद्राेह नहीं हैं बल्कि आजाद कश्मीर के लाेगाें के लिए न्याय, सम्मान और समृद्धि सुनिश्चित करने का एक प्रस्ताव हैं।”

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