चार्ज शीट

आतंकियों से जुड़े गैंगस्टरों के सिंडीकेट के खिलाफ NIA ने की अब तक की सबसे बड़ी कार्यवाही, उत्तर भारत के 70 ठिकानों पर की जबरदस्त छापेमारी, मचा हड़कंप – गौरव बरनवाल (डिप्टी एडिटर)


सांकेतिक तस्वीर।

नई दिल्ली। पूरे देश में आतंकियों के खिलाफ कड़ी कार्यवाही करने वाली केंद्रीय ऐजेंसी NIA एक बार फिर चर्चा में है। रिपोर्ट है कि ऐजेंसी की ओर से गैंगस्टर टेरर फंडिंग मामले में मंगलवार सुबह उत्तर प्रदेश, पंजाब, हरियाणा, राजस्थान, दिल्ली, चंडीगढ़, पंजाब, गुजरात और मध्य प्रदेश में एक साथ छापेमारी की जा रही है। बताया जा रहा है कि कुल 70 ऐसे लोकेशन हैं जहां पर एनआईए की छापेमारी चल रही है। यह छापेमारी गैंगस्टर और उनके करीबियों के ठिकाने पर हुई है। इस दौरान इन ठिकानों से भारी मात्रा में हथियारों व अन्य प्रतिबंधित वस्तुओं की बरामदगी की भी रिपोर्ट सामने आ रही है।

दावा किया जा रहा है कि NIA की यह छापेमारी गैंगस्टर और तमाम राज्यों में फैले उनके सिंडिकेट को लेकर की जा रही है। बता दे कि ऐजेंसी की ओर से इससे पहले भी पिछले साल के आखिर में भी दिल्ली-एनसीआर समेत देश के कई राज्यों में एक साथ छापेमारी हुई थी। यूपी में जिन जगहों पर छापेमारी चल रही है उसमें लखनऊ, पीलीभीत और प्रतापगढ़ भी शामिल है। बताया जा रहा है कि ऐजेंसी के द्वारा पहले के मामलों में की जा रही जांच में यह भी पता चला यह वसूली सट्टेबाजों फाइनेंसर, दर्जी मॉल ओनर, क्रेशर कारोबारी और प्रॉपर्टी डीलर तक से की जाती थी। दरअसल,पंजाब का सबसे बड़ा गैंगस्टर लॉरेंस और उसके गैंगस्टरों का कच्चा चिट्ठा का राज 75 मोबाइल फोन में छुपा हुआ है जो पिछले 3 महीने में जांच एजेंसियों ने अलग-अलग गैंगस्टरों के यहां छापेमारी के दौरान जब्त किए हैं।

बताया जा रहा है कि पंजाब में गैंगस्टरों के उगाही धंधे से पैसों से एक ओर तो हथियार खरीदा जाता है और दूसरी ओर हवाला के जरिए विदेश में बैठे उनके सहयोगियों को यह रकम पहुंचाई जाती है। उगाही का धंधा 3 तरीके से काम करता है, पहला हर महीने इन गैंगस्टर के टारगेट को पैसा देना होता है, दूसरा एक साथ इनके टारगेट को पैसा देना तीसरा कुछ किश्तो में पैसा देना। यह रकम 1 लाख से लेकर 50 लाख तक की है। यहीं कारण है कि गैंगस्टर लारेंस बिश्नोई, नीरज बवाना, टिल्लू ताजपुरिया और गोल्डी बराड़ पहले से ही एनआईए की रडार पर हैं। हालांकि,इस मामले में एनआईए कई गैंगस्टरों से पहले भी पूछताछ कर चुकी है। मालूम हो कि इस मामले में पिछले साल अक्टूबर में भी एनआईए ने उत्तर भारत और दिल्ली में 50 से अधिक ठिकानों पर छापेमारी की थी। इसके बाद ऐजेंसी ने एक गैंगस्टर और वकील को गिरफ्तार भी किया था।

जहां इसी मामले से जुड़े देशभर में फैले सिंडीकेट के खिलाफ आज छापेमारी की जा रही है। इस दौरान ऐजेंसी ने कई ठिकानों से भारी मात्रा में घातक हथियारों के अलावा अन्य प्रतिबंधित वस्तुओं को भी बरामद करने में बड़ी कामयाबी हासिल की है। इतना ही नहीं इस छापेमारी में कई लोगों को भी डिटेन किया गया है। बता दे कि इस बीते एक सप्ताह में ऐजेंसी ने उत्तर भारत में यह दूसरी बड़ी छापेमारी अभियान को अंजाम दिया है, हालांकि यह मामला इतर है। लेकिन एक बात अब साफ हो चुकी है कि ऐजेंसी आतंकियों से जुड़े किसी भी सिंडिकेट और उसमें शामिल किसी भी व्यक्ति को छोड़ने वाली नहीं है।

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