इन्वेस्टिगेटिव रिपोर्ट

सीक्रेट आपरेशन का सनसनीखेज खुलासा, अलास्का में ट्रंप के साथ मौजूद थे रूस के ओरिजनल राष्ट्रपति, हमशक्ल की रिपोर्ट फर्जी – चंद्रकांत मिश्र (एडिटर इन चीफ)


सांकेतिक तस्वीर।

मास्को/नई दिल्ली। हाल ही में जबसे अलास्का में ट्रंप और पुतिन की मुलाकात हुई है उसके बाद से ही वैश्विक स्तर पर तमाम मीडिया रिपोर्ट्स में विभिन्न स्त्रोतों के हवाले से यह दावा प्रमुखता से किया जा रहा है कि अलास्का में ट्रंप के साथ रूसी राष्ट्रपति पुतिन नहीं थे बल्कि उनका हमशक्ल यानि नकली पुतिन थे, इतना ही नहीं इस रिपोर्ट को सही साबित करने के लिए तमाम तरह की दलीलें भी दी जा रही है, जिसमें शारारीक स्तर को विशेष रूप से दर्शाया जा रहा है, यानि पुतिन के तमाम पुराने विडियो और अलास्का में मौजूद पुतिन के विडियो में चाल ढाल आदि में जमीन आसमान का अंतर दिखाया जा रहा है, जहां इस तरह के रिपोर्ट पर दुनिया के सामने सच लाने की नियत से “सीक्रेट आपरेशन” न्यूज पोर्टल समूह स्वतंत्र रूप से अपनी जांच शुरू किया।

जहां इस दौरान हमें अपनी पड़ताल के दौरान कई महत्वपूर्ण ऐसे तथ्य प्राप्त हुए जिसके आधार पर हम यह साबित कर सकते हैं कि अलास्का में रूस के ओरिजनल राष्ट्रपति पुतिन हीं थे। दरअसल, उल्लेखित तथाकथित दावें की बुनियाद 24 फरवरी 2022 के रूस-यूक्रेन युद्ध में बहुत ही योजनाबद्ध तरीके से रखी गई थी, क्योंकि इस युद्ध से पहले यह कभी नहीं रिपोर्ट हुआ कि पुतिन का कोई हमशक्ल भी है जो अंतर्राष्ट्रीय विजिट के दौरान विदेशों में जाता है, तो यह हुआ हमारा पहला अत्यंत ठोस साक्ष्य।

अब वहीं अपने दूसरे अति महत्वपूर्ण तथ्यों की बात करें तो वो यह है कि जब अत्यंत महत्वपूर्ण निर्णय लेना है तो ऐसे में कोई हमशक्ल ऐसे मामलों में क्यों भेजा जाएगा ? जबकि रूस यूक्रेन युद्ध एक ऐसा अनसुलझा विषय बन चुका है कि इस पर सहमति जल्दी बन हीं नहीं सकती हैं, क्योंकि युद्ध से जुड़े दोनों पक्षों की विवशता व विकल्प यह एकमात्र युद्ध हीं है, जिसे न चाहते हुए भी लड़ना मजबूरी है, क्योंकि परिस्थितियां युद्ध के अतिरिक्त कोई विकल्प नहीं दे रही है। तो प्रश्न ही नहीं उठता कि शिखर वार्ता को कोई हमशक्ल डील करें।

रही बात पुतिन के बाडी लैंग्वेज की तो यह जरूरी नहीं है कि नियमित रूप से एक इंसान अपने शरीर को जैसे डील करता हो वह उसमें आंशिक बदलाव के साथ डील करें, यानि आदतन एक इंसान की चाल ढाल लगभग एक हीं समान रूप से जारी हो और फिर अचानक किसी मौके पर उसमें आंशिक बदलाव देखने को मिले यह जरूरी नहीं है और यह तथ्य वैज्ञानिक सिद्धांतों पर आधारित है। इसी कड़ी में आगे यह भी स्पष्ट कर दे कि जब पहले से ही यह तय हो कि मुलाकात के बाद शिखर वार्ता होगी फिर एक संयुक्त पत्रकार वार्ता तो ऐसे में पुतिन के हमशक्ल होने जैसी रिपोर्ट अपने आप ही पूरी तरह से फर्जी और मनगढ़ंत साबित होती है अथवा किसी एजेंसी द्वारा प्रायोजित हो सकती है।

तो यहां सारांश यह है कि उपरोक्त तथ्यों के आधार पर “सीक्रेट आपरेशन” न्यूज पोर्टल समूह पूरी जिम्मेदारी के साथ यहां यह स्पष्ट करता है कि अलास्का में रूस के ओरिजनल राष्ट्रपति पुतिन हीं थे जो कि इस शिखर वार्ता को उन्होंने पूर्व निर्धारित योजना के तहत ज्वाइन किया था,और उनके बारे में जो हमशक्ल जैसी रिपोर्ट्स तमाम प्रतिष्ठित मीडिया समूहों द्वारा प्रसारित की जा रही है, सरासर निराधार खबरें है, बता दें कि सीक्रेट आपरेशन न्यूज पोर्टल समूह जबसे अस्तित्व में आया है उसके बाद से ही हमारा उद्देश्य रहा है कि हम फर्जी तथ्य जनित खबरों को कभी रिपोर्ट नहीं करेंगे, तथा आवश्यकता पड़ने पर खोजी पत्रकारिता के तहत तमाम फर्जी तथ्यों वाली ऐसी सभी रिपोर्ट्स को हमेशा अत्यंत ठोस साक्ष्यों के आलोक में काउंटर करेंगे, जहां इस दौरान हमनें तमाम ऐसे दावे भी किए हैं जो कि अमेरिका की खुफिया एजेंसी या ब्रिटिश ऐजेंसी अथवा इंटरनेशनल लेवल के तमाम मीडिया समूहों व पूर्व राजनयिक या तमाम डिफेंस एक्सपर्ट हो आदि को आन रिकॉर्ड झूठा साबित कर चुके हैं, जिसका कि एक संयुक्त विवरण से संबंधित रिपोर्ट हमारे इस न्यूज़ आर्गेनाइजेशन के दिसंबर 2023 के इंवेस्टिगेटिव रिपोर्ट के कालम में उल्लेखित है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *