
सांकेतिक तस्वीर।
इस्लामाबाद। जिस बात की आशंका थी,सामने आ हीं गई, पाकिस्तान के रक्षा मंत्री परवेज खट्टक ने सियालकोट में मारे गए श्रीलंकाई नागरिक प्रियंता कुमारा की घटना में भीड़ की कार्यवाही को जायज ठहराया दिया है। इस दौरान रक्षा मंत्री परवेज ने साफ किया कि यह धार्मिक भावनाओं से प्रेरित गुस्साए युवकों का काम था,आगे भी उन्होंनें कहा कि वारदात के लिए सरकार पर आरोप लगाना सही नहीं है।
मीडिया से बातचीत के दौरान पाकिस्तान के रक्षा मंत्री ने कहा कि जब धर्म की बात आएगी तो मैं भी उत्तेजित हो जाऊंगा और गलत कर बैठूंगा। हालांकि खट्टक के इस बयान ने उनके आलोचकों को मौका दे दिया, जिस वजह से उनकी थू-थू शुरू हो गई है। अब तो रक्षा मंत्री परवेज को हटाने की भी मांग हो रही है।
बताते चले कि पाकिस्तान के सियालकोट जिले में शुक्रवार को उन्मादी भीड़ के हमले में मारे गए श्रीलंकाई नागरिक प्रियंता कुमारा का शव सोमवार को कोलंबो पहुंच गया।
वहीं घटना की जांच कर रही पाकिस्तानी पुलिस ने दावा किया है कि उन्मादी भीड़ कपड़ा फैक्ट्री और उसके मालिक को भी जला देना चाहती थी,पुलिस ने कहा कि श्रीलंकाई नागरिक प्रियंता कुमारा की बर्बर हत्या करने वाली भीड़ ने कई बोतलों में पेट्रोल इकट्ठा कर रखा था,और भीड़ फैक्ट्री मालिक की भी पिटाई कर रही थी,तभी पुलिस आ गई और उसे बचा ली।
पुलिस ने अबतक इस घटना में शामिल 26 प्रमुख लोगों सहित कुल 131 आरोपितों को गिरफ्तार कर चुकी है। वहीं प्रधानमंत्री इमरान खान ने शनिवार को श्रीलंकाई नागरिक को बचाने के लिए भीड़ में कूद पड़ने वाले सहयोगी मलिक अदनान को तमगा-ए-शुजात (बहादुरी के लिए सम्मान) देने का ऐलान किया है।
